खुद रो कर भी सभी को हंसा कर आया हूँ
मैं अपने दिल के दर्द को शायरी में सुना कर आया हूँ
और मुझे पाने की चाहत वो ही नहीं रखती
जिसके लिए मैं महफिलों को ठुकराकर आया हूँ
~ हरमीत सिंह
Just another Hindi Shayari site
खुद रो कर भी सभी को हंसा कर आया हूँ
मैं अपने दिल के दर्द को शायरी में सुना कर आया हूँ
और मुझे पाने की चाहत वो ही नहीं रखती
जिसके लिए मैं महफिलों को ठुकराकर आया हूँ
~ हरमीत सिंह