नजर ने नजर से मुलाकात कर ली,
रहे दोनो एक दम खामोश पर फिर भी बात कर ली,
कुछ समय बाद मोहब्बत की फ़िज़ा को तब जाना,
जब खुद को अकेला पाया,
और तब मेरी इन आँखों ने रो रो के बरसात कर ली..
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नजर ने नजर से मुलाकात कर ली,
रहे दोनो एक दम खामोश पर फिर भी बात कर ली,
कुछ समय बाद मोहब्बत की फ़िज़ा को तब जाना,
जब खुद को अकेला पाया,
और तब मेरी इन आँखों ने रो रो के बरसात कर ली..